नई दिल्ली: वित्तमंत्री निर्मला सीतारमण ने शुक्रवार को अर्थव्यवस्था और बाजार को सभालने के लिए कई बड़े एलान किए. उन्होंने लॉन्ग टर्म और शॉर्ट टर्म कैपिटल गेंस पर सरचार्ज में बढ़ोतरी का फैसला वापस ले लिया. उन्होंने कहा की विदेशी फंडों (FPI) पर भी सरचार्ज में बढ़ोतरी के फैसले को वापस ले लिया गया है .घरेलू निवेशकों में भी सरचार्ज के मामले में बजट से पहले जैसी स्थिति जारी रहेगी.

वित्तमंत्री के कहा है शेयर बाजार की रौनक फिर से लौटेगी. सुपर-रिच पर सरचार्ज बढ़ाने के एलान के बाद शेयर बाजार में काफी कमजोरी देखने को मिली है. इससे विदेशी फंडों में काफी नाराजगी जाहिर की थी. जुलाई और अगस्त के दौरान विदेशी फंड शेयर बाजार में 23,000 करोड़ रुपये का व्यापार किया हैं. इस वर्ष जो जुलाई में बजट पेश किया था उस में सुपर-रिच पर सरचार्ज बढ़ाने के फैसले का असर 40 फीसदी एफपीआई पर पड़ा था. इसकी वजह यह है कि ये एफपीआई भारत में बतौर ट्रस्ट या एओपी निवेश करते हैं. सरचार्ज बढ़ जाने से इनके लिए भारतीय शेयर बाजार में निवेश का आकर्षण कम हो गया.  आगे वित्तमंत्री ने यह भी कहा कि अगले कुछ दिनों में सरकार और दो बार ऐसे उपायों का एलान करेगी. ये अर्थव्यवस्था की ग्रोथ बढ़ाने में मददगार साबित होंगे. सरकार ठप पड़ी परियोजानओं से जुड़े मसलों को भी दूर करने के करीब है. एनबीएफसी के लिए भी शुक्रवार को बड़ा एलान किया गया. एनबीएफसी अब आधार आधारित केवाईसी का इस्तेमाल कर सकेंगे. वित्तमंत्री ने कहा कि इससे एनबीएफसी से जल्द ग्राहकों को लोन मिल सकेगा. इस दौरान उन्होंने अलग-अलग सेक्टर्स, उद्योग और आम आदमी को मंदी से राहत देने वाली कई घोषणाएं कीं. वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने आर्थिक मंदी पर प्रहार करने वाले कई कदमों का ऐलान किया.

बैंकों को सरकार देगी 70,000 करोड़
वित्त मंत्री ने कहा, बैंकों ने तय किया है कि अब आरबीआई द्वारा रेपो रेट में की गई कटौती का फायदा सीधे ग्राहकों को दिया जाएगा. इसका असर ये होगा कि ग्राहकों को अब होम और ऑटो लोन सस्ते मिलेंगे. वित्तमंत्री ने सिस्टम में लिक्विडिटी की कमी को भी दूर करने के उपायों की घोषणा की. उन्होंने कहा कि बैंकों को जल्द सरकार 70,000 करोड़ रुपये की रकम देगी. इससे उनके पास कर्ज देने के लिए ज्यादा पैसा उपलब्ध होगा. उन्होंने कहा कि इससे लिक्विडिटी में करीब 5 लाख करोड़ रुपये का इजाफा होगा. सीतारमण ने व्यापारियों को राहत देने वाले एलान भी किए. उन्होंने कहा कि अब जीएसटी का रिफंड 60 दिन के अंदर मिल जाएगा. हाउसिंग फाइनेंस कंपनियों के लिए लिक्विडिटी सपोर्ट बढ़ाकर 30,000 करोड़ रुपये कर दिया गया है.