-सरकार ने कहा नहीं घटाएंगे टैक्स
बिजनेस न्यूज।
पेट्रोल और डीजल की कीमत 14 बार बढ़ चुकी हैं। इतना ही नहीं कच्चे तेल के बढ़ते दामों के कारण आगे भी इनके और महंगे होने की पूरी संभावना है। अंतरराष्ट्रीय बाजारों में कच्चे तेल की कीमतों में लगातार तेजी देखने को मिल रही है। बताया जा रहा है कि अंतरराष्ट्रीय बाजार में ब्रेंट क्रूड ऑयल का भाव 61 डॉलर प्रति बैरल पर पहुंच गया है। पेट्रोलियम और नेचुरल गैस मंत्रालय ने साफ कर दिया कि केंद्र सरकार पेट्रोल और डीजल पर लगने वाले टैक्स में कोई कटौती नहीं करेगी। राज्यसभा में एक लिखित सवाल के जवाब में पेट्रोलियम मंत्री धर्मेंद्र प्रधान ने कहा कि सरकार के पास पेट्रोल और डीजल पर लगने वाला टैक्स को घटाने का कोई प्रस्ताव नहीं है। उन्होंने कहा कि पेट्रोल और डीजल पर टैक्स बढ़ाना या कम करना सरकार की जरूरतों और मार्केट की स्थिति जैसे कई पहलुओं पर निर्भर करता है।
14 बार बढ़े भाव
फरवरी में अब तक पेट्रोल-डीजल के दाम में 4 बार बढ़ोतरी हुई है। इससे पहले यह रिकॉर्ड 4 अक्टूबर 2018 को बना था। 2018 में जब पेट्रोल और डीजल के दाम रिकॉर्ड ऊंचाई पर पहुंचे थे, तब सरकार ने इन पर एक्साइज ड्यूटी 1.50 रुपए प्रति लीटर घटाई थी। सरकारी तेल कंपनियों ने भी दाम एक रुपया घटाया था। वहीं 2018 में क्रूड ऑयल के भाव 80 डॉलर प्रति बैरल के करीब था, जो अभी 61 डॉलर प्रति बैरल है। यानी 2018 के मुकाबले अभी क्रूड ऑयल 33 प्रतिशत महंगा था लेकिन तब भी पेट्रोल-डीजल के भाव अभी के भाव से कम थे। तेल उत्पादक समूह देशों द्वारा उत्पादन में कटौती, दुनियाभर में आर्थिक गतिविधियों में तेजी और अमेरिका में नए राहत पैकेज को लेकर पॉजिटिव अपडेट से कच्चे तेल की कीमत बढ़ रही है। इसके अलावा डॉलर इंडेक्स में कमजोरी के साथ-साथ अमेरिका में भी उत्पादन घटा है। बीते 6 महीनों में ब्रेंट क्रूड का दाम 17 डॉलर प्रति बैरल बढ़ चुका है।