नई दिल्ली। अमेरिका की दिग्गज टेक कंपनी एप्पल ने भारतीय प्रतिस्पर्धा आयोग (CCI) से उस पर लगे आरोपों को हटाने की अपील की है। एप्पल पर आरोप लगे हैं कि उसने ऐप मार्केट में अपनी पावर का गलत इस्तेमाल किया। एप्पल ने अपनी सफाई में कहा कि दक्षिण एशियाई देश में गूगल के मुकाबले वह बहुत छोटा खिलाड़ी है। यहां पूरी तरह से गूगल का डॉमिनेंस है।
एपल ने अपनी फाइलिंग में कहा, भारत में उसकी बाजार हिस्सेदारी 0-5% है, जबकि गूगल का मार्केट शेयर 90-100% है, क्योंकि ज्यादातर लोगों के पास एंड्रॉयड फोन है। ऐसे में भारतीय बाजार में प्रभुत्व के बिना वह अपनी पावर का दुरुपयोग नहीं कर सकता। इसीलिए उसे इस केस से बाहर निकाला जाए। 16 नवंबर की इस फाइलिंग में चीफ कंप्लाइंस ऑफिसर काइल एंडीर के साइन हैं।
कोई सबूत नहीं किया पेश : एप्पल ने CCI से अपनी फाइलिंग में जो भी बातें कही हैं उसको लेकर कोई भी सबूत पेश नहीं किए हैं। वहीं CCI ने भी इस मामले में अब तक जो भी जांच की है इसके बारे में कोई जानकारी नहीं दी है। इस मामले को लेकर जब एप्पल और CCI से जानकारी मांगी गई तो उन्होंने इस पर कोई रिस्पॉन्स नहीं दिया। वहीं गूगल ने भी कुछ भी कहने से इनकार कर दिया।
कई देशों में लगे आरोप : भारत ही नहीं अन्य देशों में भी एप्पल पर इस तरह के आरोप लग चुके हैं। इस कमीशन रेट को लेकर दुनिया की अधिकांश एप कंपनियां परेशान हैं। एप्पल और गूगल के इस एकाधिकार को गेमिंग कंपनी एपिक ने अदालत में चुनौती दी है। एपिक गेम्स दुनियाभर में लोकप्रिय गेम फोर्टनाइट की निर्माता है।